You are here
Home > breaking news > कस्तूरबा गाँधी आवासीय विद्यालय में बच्चियों के साथ क्रूरता, डंडों से मार-पीट,टॉयलेट कराए जाते हैं साफ,

कस्तूरबा गाँधी आवासीय विद्यालय में बच्चियों के साथ क्रूरता, डंडों से मार-पीट,टॉयलेट कराए जाते हैं साफ,

कस्तूरबा गाँधी आवासीय विद्यालय में बच्चियों के साथ क्रूरता, डंडों से मार-पीट,टॉयलेट कराए जाते हैं साफ, कस्तूरबा गाँधी आवासीय विद्यालय में बच्चियों के साथ क्रूरता, डंडों से मार-पीट,टॉयलेट कराए जाते हैं साफ,

Share This:

अलीगढ़ उत्तर प्रदेश। कस्तूरबा गाँधी आवासीय विद्यालय में बच्चियों के साथ क्रूरता, यह विद्यालय है या जेल!! डंडों से मार-पीट, बच्चियों से यहाँ टॉयलेट कराए जाते हैं साफ, पूरे आवास और स्कूल परिसर की सफाई कराई जाती है। पढ़ने वाली बच्चियों से, टीचर स्टाफ पढ़ाई के वक्त भी कराती हैं खुद के काम।  हाथ पैर दब वाता है बच्चियों से टीचर स्टाफ। बीएसए की रिस्तेदार टीचर चलाती है।
अलीगढ़ में दिल दहला देने वाली वीडियो आई सामने, कस्तूरबा गाँधी कन्या आवासीय विद्यालय की वीडियो आई सामने। बच्चियों को क्रूरता से मारने पीटने की वीडियो आई सामने, बाल पकड़कर जमीन पर डालकर बच्चियों पीटा जाता है। कस्तूरबा गाँधी आवासीय विद्यालय में, स्कूल की टीचर स्टाफ के बताए काम की मना करने पर की जाती है। बच्चियों के साथ क्रूरता से डंडों से मार-पीट, बच्चियों से यहाँ टॉयलेट कराए जाते हैं साफ, पूरे आवास और स्कूल परिसर की सफाई कराई जाती है पढ़ने वाली बच्चियों से, टीचर स्टाफ पढ़ाई के वक्त भी कराती हैं। खुद के काम, हाथ पैर दब वाता है बच्चियों से टीचर स्टाफ, बीएसए की रिस्तेदार टीचर चलाती है। अपनी दबंगई से आवासीय स्कूल को, स्कूल में पढ़ने वाली बच्चियों और परिजनों ने बताई दिल दहला देने बातें, मिली सभी दिल दहला देने वाली वीडियो, अधिकारी चेकिंग के नाम पर करते हैं खाना पूर्ति, मडराक स्थित कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय का मामला।
देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रदेश के मुख्यमंत्री आदित्यनाथ योगी की सरकार महिलाओं की सुरक्षा और बच्चियों को पढ़ लिख कर आगे बढ़ाने की बड़ी-बड़ी बातें करते हैं। लेकिन उन्हीं की सरकार में चलाए जा रहे हैं कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय में जो हो रहा है वह शायद ही अब किसी से छिपा हुआ है। हाल ही में एक कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय में देह व्यापार का भंडाफोड़ हुआ था।जिसके बाद हर स्कूल और आवास की गहनता से जांच कर सरकार को अधिकारियों द्वारा रिपोर्ट भेजी गई थी।लेकिन हर जिले के प्रशासन द्वारा शासन को जो रिपोर्ट भेजी गई थी। उसको फेल करने के लिए  हाथ बेहद दर्द भरी वीडियो और सबूत हाथ लगे हैं।
स्कूल में पढ़ने वाली बच्चियां बता रही हैं कि टीचर स्टाफ पढ़ाई के वक्त अपनी हवा करवाती हैं हाथ पैर दबवाकर अपनी सेवा करवाती है।कपड़े प्रेस करवाती हैं, अगर यह काम बच्चियों ने नहीं किए तो उनके साथ क्रूरता से पेश आया जाता है। बच्चियों को बाल पकड़कर, चोटी पकड़कर घसीट कर स्कूल में पढ़ने वाली सभी बच्चियों के सामने ले जाकर जमीन पर डाल लिया जाता है। और लाठी डंडे लात घुसो से पिटाई की जाती है। उस वक्त पिटने वाली बच्चियां दर्द से कराह रही होती है और बोल रही होती हैं छोड़ दो मुझे बचाओ मुझे दीदी छोड़ दो मुझे।
यह सब सभी बच्चियों के सामने इस वजह से किया जाता है की सभी को दिख जाए यहां पढ़ने वाली बच्ची ने टीचर स्टाफ का बताया हुआ ।काम नहीं किया तो उसके साथ भी इसी तरह का हस्र किया जाएगा। कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालय में पढ़ने वाली बच्चियां और उनके परिजन बता रहे हैं की इस स्कूल की वार्डन उपासना जोकि कंप्यूटर की टीचर है। पारुल वार्ष्णेय जो की हिंदी की टीचर है, गुंजन पांडे जो बच्चियों को संगीत पढ़ाती है। यह तीनों मिलकर बच्चियों को अपने नौकर की तरह रखती हैं सभी काम कराती हैं इतना ही नहीं बच्चियां बता रही हैं कि उनसे कक्षा में पढ़ाते समय या टीचर कहती हैं कि तुम सभी अपने परिवार पर बोझ हो इसी वजह से इस आवासीय विद्यालय में भेजा गया है यहां तुम ठूंस ठूंस कर खाने के लिए आते हो। वहीं दूसरी बच्ची कह रही है कि यहां पर खाने के लिए दिए जाने वाले आइटम दूध और अन्य खाद्य सामग्री पूर्ण रूप से नहीं दी जाती। शिकायत करने पर मारपीट करते हैं वहीं एक बच्ची बता रही है कि वह मुस्लिम परिवार से ताल्लुक रखती है जिसके लिए कहा जाता है कि मुस्लिम परिवार और उनकी बच्चियों के मुंह से बदबू आती है उनसे हम बात नहीं करेंगे। वही बच्ची बता रही है कि स्कूल परिसर में अगर समरसेबल खराब हो जाए तो उनको खुले में लगे नल पर भेज दिया जाता है। जहां खुले आसमान के नीचे नग्न अवस्था में जबरन नहलाया जाता है। आवासीय स्कूल में पढ़ने वाली बच्चियां अब टीचर स्टाफ से डरी और सहमी हुई रहती हैं। क्योंकि कई बार उनके साथ मारपीट की जा चुकी है और आए दिन होती रहती है यह आवासीय विद्यालय है या कोई आवासीय जेल बच्चियां,अब तो बस यही समझने की कोशिश कर रही हैं।
 आपको बता दें आरोप यह भी लग रहे हैं कि अलीगढ़ के बीएसए लक्ष्मीकांत पांडे से विद्यालय में पढ़ाने वाली शिक्षिका गुंजन पांडे का कोई रिश्तेदारी कनेक्शन है जिसके चलते इस विद्यालय में पढ़ने वाली छात्रा या उनके परिजनों द्वारा शिकायत की जाती है तो बीएसए साहब उसमें दिखावटी जांच कर फाइल बंद कर देते हैं कार्रवाई के नाम पर शून्य रहता है ।हालांकि फिर भी इस संबंध में जब बीएसए को दिल दहला देने वाली क्रूरताा भरी मारपीट समेत सभी वीडियोस को दिखाया गया ।तो बीएसए लक्ष्मीकांंत पांडे ने जांच कर 1 हफ्ते के अंदर कार्यवाही की बात कही है ।
Ajay Kumar
Distt-aligarh
Hind newstv

Leave a Reply

Top