उत्तराखंड में 24 घंटे में जंगल में आग लगने की 12 घटना दर्ज हुई हैं। इसमें कुमाऊं और गढ़वाल में छह-छह घटनाएं दर्ज की गई। इससे 30 हेक्टेयर से अधिक क्षेत्रफल में नुकसान हुआ है। 15 फरवरी से शुरू हुए फायर सीजन से लेकर 18 अप्रैल तक राज्य में वनाग्नि
उत्तराखंड के जंगल खतरे में हैं… लेकिन जो इन्हें बचाने के लिए दिन-रात मेहनत करते हैं, वे आज अपनी मांगों को लेकर सड़कों पर उतरने को मजबूर हैं! रामनगर में तराई पश्चिमी वन प्रभाग, रामनगर डिवीजन और जिम कॉर्बेट प्रशासन के कार्यालय एक ही परिसर में हैं, और यहीं पर
जंगल की आग की दृष्टि से 15 फरवरी से फायर सीजन शुरू हो रहा है। इसको लेकर वन मुख्यालय ने आदेश जारी किया है। इसमें कहा गया है कि विशेष परिस्थितियों में ही वन कर्मियों को अवकाश मिलेगा। वन कर्मियों को कार्य क्षेत्र में रहने को कहा गया है। प्रमुख